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न परिवार न दोस्त, बैठे- बैठे शादी की सूझी और गीता को लेकर मंदिर पहुंच गए शम्मी कपूर, लिप्सटिक से भरा मांग में सिंदूर, जानें ये दिलचस्प कहानी

वक्त के साथ भारतीय सिनेमा जगत में बड़ा बदलाव देखने को मिल रहा है। यंग जनरेशन अलगजोश और टैलेंट के साथ इस इंडस्ट्री में कदम रख रही है। आज इंडस्ट्री में क्रिएटीविटी की भरमार है। टीवी और बड़े पर्दे के बाद अब वेबसीरीज का दौर शुरू हो गया है। ऐसा लगता है मानों अब इंडस्ट्री दुगनी रफ्तार से चल रही है। लेकिन वो दौर भी अलग था जब शम्मी कपूर ( shammi kapoor ) जैसे उम्दा सितारे सिनेमा जगत पर राज करते थे। आज भी लोगों के जहन से वो दौर गया नहीं है। उस दौर में कुछ अलग ही बात थी। गानों से लेकर एक्टिंग और डांसिंग तक सबकुछ आज कॅापी हो रहा है, लेकिन उस जमाने में सब ऑरिजनल हुआ करता था। कल शम्मी कपूर का जन्मदिन है और इस खास मौके पर हम आपको उनसे जुड़े कुछ अनसुने किस्से बताएंगे।

 

न परिवार न दोस्त, बैठे- बैठे शादी की सूझी और गीता को लेकर मंदिर पहुंच गए शम्मी कपूर, लिप्सटिक से भरा मांग में सिंदूर, जानें से दिलचस्प कहानी

शमशेर राज कपूर ( shammi kapoor birthday ) 21 अक्टूबर, 1931 को मुंबई में हुआ था। उनके पिता का नाम पृथ्वीराज कपूर और मां का नाम रामशरणी था। क्या आप जानते हैं जब शम्मी गर्भ में थे तब राज कपूर से छोटे उनके दो भाई – देवी और बिंदी एक ही हफ्ते के अंतराल में चल बसे थे, इसलिए उनकी डिलीवरी को लेकर सभी डरे हुए थे। बताया जाता है वे अपने परिवार के अकेले बच्चे थे जिनका जन्म अस्पताल में हुआ।

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डेब्यू के पहले ही साल में शम्मी कपूर ने दिग्गज अदाकारा नूतन को डेट करना शुरू कर दिया था। इन दोनों का रिश्ता हालांकि बहुत पुराना था। नूतन उनकी चाइल्डहुड गर्लफ्रेंड थीं। जब नूतन 3 और शम्मी 6 साल के थे तब से दोस्त थे। दोनों पड़ोस में ही रहते थे। शम्मी के पिता पृथ्वीराज और नूतन की मां शोभना समर्थ बहुत अच्छे दोस्त थे इसलिए दोनों के बच्चे भी हमेशा मिलते और साथ खेलते-कूदते रहते थे। शम्मी नूतन से शादी भी करना चाहते थे लेकिन शोभना समर्थ नहीं मानीं। ‘नगीना’ के रिलीज होने के कुछ ही वक्त बाद उन्हें स्विट्जरलैंड के एक फिनिशिंग स्कूल ‘ला शेतेलेन’ भेज दिया गया।

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23 की उम्र में शम्मी ने एक्ट्रेस गीता बाली से शादी कर ली थी। उनसे वे पहली बार फिल्म ‘कॉफी हाउस’ के सेट पर मिले थे। बाद में दोनों ने साथ में केदार शर्मा की फिल्म ‘रंगीन रातें’ (1959) में काम किया। उसके आउटडोर शूट पर वे रानीखेत हिल स्टेशन गए थे। रानीखेत के शेड्यूल से लौटने के बाद शम्मी रोज गीता से पूछते थे कि वे उनसे प्यार करते हैं, क्या वे उनसे शादी करेंगी? लेकिन गीता हां नहीं कहती थीं। एक दिन अचानक एक्ट्रेस बोलीं, 'चलो, शादी करते हैं।' शम्मी एकदम खुश हो गए। फिर गीता ने कहा, 'लेकिन शादी आज ही करनी होगी।' वे चौंक गए। बोले, 'ऐसे कैसे हो सकता है?' वे बोलीं, 'क्यों? वो जॉनी वॉकर ने नहीं की थी पिछले हफ्ते।' शम्मी ने कहा, 'बहुत अच्छा। चलो!' शम्मी बोले, 'हम लोग प्यार में पड़ गए हैं और शादी करना चाहते हैं।ठीक तुम्हारी तरह। बोलो, 'कैसे करें?' जॉनी बोले, 'तुम लोग पागल हो! मैं मस्जिद में गया हूं, मैं मुसलमान आदमी हूं। आप लोग मंदिर में जाओ।' तो वे लोग मंदिर गए। पुजारी ने उनके फेरे करवाए। दोनों ने हार पहनाए। गीता ने अपने बैग में से लिपस्टिक निकाली। शम्मी ने उनकी मांग में लिपस्टिक भर दी। इस तरह इन दोनों स्टार की शादी हुई।



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न परिवार न दोस्त, बैठे- बैठे शादी की सूझी और गीता को लेकर मंदिर पहुंच गए शम्मी कपूर, लिप्सटिक से भरा मांग में सिंदूर, जानें ये दिलचस्प कहानी न परिवार न दोस्त, बैठे- बैठे शादी की सूझी और गीता को लेकर मंदिर पहुंच गए शम्मी कपूर, लिप्सटिक से भरा मांग में सिंदूर, जानें ये दिलचस्प कहानी Reviewed by N on October 20, 2019 Rating: 5

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